विषय पदोन्नति में आरक्षण एवं अन्य सांगठनिक मांगो को प्रबंधन द्वारा नजरअंदाज कर तानाशाही रवैया अपनाने के संदर्भ में द्विपक्षीय वार्ता हेतु एजेंडा।
छत्तीसगढ़ स्टेट पावर कंपनी, डगनिया, रायपुर (छ.ग.)
सच तक इंडिया रायपुर संदर्भ आंदोलन की सूचना पत्र क. 39. दिनांक 27.09.20241उपरोक्त विषयांतर्गत, छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत मण्डल आरक्षित वर्ग अधिकारी कर्मचारी संघ विभिन्न समस्याओं पर समय-समय पर पत्राचार कर उच्च प्रबंधन के संज्ञान में लाया गया है। तत्संबंध में संघ ने द्विपक्षीय वार्ता हेतु भी निवेदन किया गया परंतु संदर्भित पत्र द्वारा कमबद्ध आंदोलन की सूचना देने तक कोई वार्ता का पहल भी नहीं किया गया है। जिससे विद्युत कंपनी में कार्यरत अधिकारी कर्मचारियों के लगभग 45 प्रतिशत कार्यरत संघ के सदस्यों में आकोश व्याप्त है। आपसे निवेदन है कि द्विपक्षीय वार्ता कर निम्नलिखित एजेंडा निराकरण करने हेतु अतिशीघ्र आवश्यक कार्यवाही करेंगे। अन्यथा संघ “करो या मरो” की तर्ज पर उग्र आंदोलन के लिए बाध्य रहेगा।
द्विपक्षीय वार्ता हेतु एजेंडा –
1. माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा पारित अंतरिम आदेश दिनांक 01.05.2023 को दिये गये भर्ती एवं पदोन्नति की चयन प्रक्रिया अनुसार छ.ग. शासन द्वारा भर्ती की जा रही है। लेकिन पदोन्नति में लागू नहीं किया गया है, जिससे अनुसूचित जाति एवं जनजाति के हजारों कर्मचारी अधिकारी पदोन्नति से वंचित है। उक्त अंतरिम आदेशानुसार सामान्य प्रशासन विभाग के आदेश क. एफ 13-1/2023/आ.प्र./1-3, नवा रायपुर, दिनांक 03/05/2023 को पदोन्नति हेतु लागू करने का स्पष्ट निर्देश जारी किया जावें।
2. माननीय उच्च न्यायालय द्वारा हढर ठङ्म. 9778/2019 में पारित अंतिम निर्णय दिनांक 16. 04.2024 के अनुसार छत्तीसगढ़ शासन द्वारा जारी नए पदोन्नति नियम जारी होने तक पदोन्नति प्रक्रिया को स्थगित रखा जावे।
3. विद्युत कंपनी में छ.ग. लोक सेवा (अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पिछड़े वर्गों
का आरक्षण) अधिनियम 1994 के प्रावधानानुसार तृतीय एवं चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती
एवं पदोन्नति में जिला / संभाग स्तर का आरक्षण रोस्टर शीघ्र लागू किया जाय। 4. छ.ग.शासन द्वारा दिनांक 03.06.2015 को जारी अनुसूचित क्षेत्र में पदस्थापना के संबंध में जारी दिशा-निर्देश को विद्युत कंपनी में यथावत लागू करवाया करवाया जाये।
5. छत्तीसगढ़ स्टेट पावर कंपनी के आदेश /856-857/रायपुर, दिनांक-19. क. 01-05/पीडी-दो/856-85 09.2018 के द्वारा जारी स्थानांतरण नीति 2018 को यथावत लागू किया जावें। अनुसूचित क्षेत्रों में सेवाकाल के दौरान 03 वर्ष की कालावधि के लिए पदस्थापना आवश्यक है। एवं एक ही जगह 5 वर्ष से ज्यादा पदस्थ अधिकारियों को शीघ्र स्थानांतरण किया जावें।
6. कंपनी में पदस्थ समस्त अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति व अन्य पिछड़े वर्गों के अधिकारी एवं कर्मचारियों के प्राप्त समस्याओं संबंधी शिकायतों की प्रत्येक विभागाध्यक्ष के कार्यालय स्तर पर सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा जारी अधिसूचना के परिपालन में शिकायत पंजीयन का नियमित संचालन किया जावे।
7. विद्युत कंपनी में राज्य शासन के अन्य विभागों की तुलना में ड्यूटी के दौरान हेल्थ हजार्ड एवं एक्सीडेंटल रिस्क शामिल होता है। अत: केवल अभियंताओं को दी जाने वाली 3 प्रतिशत तकनीकी भत्ता को अन्य तकनीकी कर्मचारी एवं अधिकारियों के लिए विस्तारित किया जाय।
8. विद्युत कंपनी में वर्ष 2004 के बाद नियुक्त कर्मचारी एवं अधिकारियों को छ.ग.शासन के अनुरूपओल्ड पेंशन स्कीम को तत्काल लागू किया जाय।
9. विद्युत कंपनी में संविदा में कार्यरत कर्मचारी/अधिकारियों को पदरिक्तता को देखते हुए नियमित नियुक्ति दिया जाय।
10. उर्जा विभाग के तीनों विद्युत कंपनी में छ.ग. शासन के आदेशानुसार प्रत्येक स्थापना में अर्थात् 03 लायजन आॅफिसर की पृथक-पृथक नियुक्ति किया जावें।
11. विभागीय जांच की समय-सीमा निर्धारित किया जाय एवं राज्य शासन की आदेशानुसार एक वर्ष के भीतर जांच पूर्ण कर रिपोर्ट प्रस्तुत किया जाय। समय-सीमा में जांच न होने पर संबंधित अधिकारियों की जिम्मेदारी सुनिश्चित किया जावे।
12. विभागीय पदोन्नति समिति में अनुसूचित जाति/जनजाति का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने के लिए कंपनी के शक्ति प्रत्यायोजन पुस्तिका के तहत् स्थायी तौर पर विभिन्न स्तर की पदोन्नति हेतु समिति का गठन किया जाय।
13. चतुर्थ श्रेणी में नियुक्त कर्मचारियों को एक निश्चित सेवा अवधि पश्चात् तृत्तीय श्रेणी में पदोन्नति/पुनर्पदनामित करने का प्रावधान किया जाय।